ज्ञान सारं – पासुर (श्लोक) ६
श्री: श्रीमते शठकोपाय नम: श्रीमते रामानुजाय नम: श्रीमत् वरवरमुनये नम: ज्ञान सारं ज्ञान सारं – पासुर (श्लोक) ५ ज्ञान सारं – पासुर (श्लोक) ७ पासुर ६ पुण्डरीगै केळ्वन् अडियार् अपूमिसैयोन् अण्डम् ओरु पोरुळा आदरियार् – मण्डि मलन्ग ओरु मीन् पुरण्ड मातिरताल् आर्तु कलन्गिडुओ मुनीर् कडल् शब्दार्थ : अडियार् = भक्त, पुण्डरीगै = कमलपुष्प में अवतार लेने … Read more